नई दिल्लीः पूर्व इंडियन क्रिकेटर सुनील गावस्कर ने कहा कि जिस तरह बल्लेबाजों को अपने पहले शतक का इंतजार होता है, उसी तरह कप्तान विराट कोहली को पहली जीत मिली है। वो आशा करने लगे हैं कि अब भारतीय टीम जीत का सिलसिला भी कायम करेगी।
अहम बात ये है कि भारत 22 वर्ष पश्चात श्रीलंका में फिर से श्रृंखला में जीत की उम्मीद करने लगा है। एक न्यूज चैनल से बातचीत के दरमियान गावस्कर ने कहा, एक तो कुमार संगकारा जैसे महान खिलाड़ी टीम से बाहर हो गए हैं। इसके अलावा, दूसरी पारी में कप्तान एंजेलो मैथ्यूज़ के आउट होते ही लगने लगा कि श्रीलंकाई टीम कप्तान के आउट होते ही दबाव में आ जाती है।
फिर श्रीलंकाई खिलाड़ी पिच में रहकर ही गेंद खेल रहे थे। इसलिए लगता है कि श्रीलंकाई बल्लेबाजों में स्पिन को खेलने की अच्छी काबिलियत नहीं है। ये सभी इशारा करते हैं कि टीम इंडिया सीरीज में जीत करने की पुख्ता तैयारी कर सकती है।
सुनील गावस्कर ये भी मानते हैं कि टीम इंडिया मेजबान टीम से कहीं मजबूत है। उनके मुताबिक पहले टेस्ट के ज्यादातर सेशन में भारतीय पलड़ा भारी रहा। सिर्फ दिनेश चांदीमल के शतक (162) और रंगना हेराथ की घातक गेंदबाजी (7/48) के सहारे मेजबान टीम ने जीत हासिल कर ली, लेकिन दूसरे टेस्ट में कप्तान विराट कोहली ने पहले टेस्ट की गलतियों को नहीं दुहराया। इस बार विराट ने अश्विन को गेंदबाजी देने में देर नहीं की और नतीजा सबके सामने है। गावस्कर का कहना है कि विराट कोहली अपनी गलतियों से सबक लेते हैं, जो उन्हें एक बड़ा कप्तान बना सकता है।
अहम बात ये है कि भारत 22 वर्ष पश्चात श्रीलंका में फिर से श्रृंखला में जीत की उम्मीद करने लगा है। एक न्यूज चैनल से बातचीत के दरमियान गावस्कर ने कहा, एक तो कुमार संगकारा जैसे महान खिलाड़ी टीम से बाहर हो गए हैं। इसके अलावा, दूसरी पारी में कप्तान एंजेलो मैथ्यूज़ के आउट होते ही लगने लगा कि श्रीलंकाई टीम कप्तान के आउट होते ही दबाव में आ जाती है।
फिर श्रीलंकाई खिलाड़ी पिच में रहकर ही गेंद खेल रहे थे। इसलिए लगता है कि श्रीलंकाई बल्लेबाजों में स्पिन को खेलने की अच्छी काबिलियत नहीं है। ये सभी इशारा करते हैं कि टीम इंडिया सीरीज में जीत करने की पुख्ता तैयारी कर सकती है।
सुनील गावस्कर ये भी मानते हैं कि टीम इंडिया मेजबान टीम से कहीं मजबूत है। उनके मुताबिक पहले टेस्ट के ज्यादातर सेशन में भारतीय पलड़ा भारी रहा। सिर्फ दिनेश चांदीमल के शतक (162) और रंगना हेराथ की घातक गेंदबाजी (7/48) के सहारे मेजबान टीम ने जीत हासिल कर ली, लेकिन दूसरे टेस्ट में कप्तान विराट कोहली ने पहले टेस्ट की गलतियों को नहीं दुहराया। इस बार विराट ने अश्विन को गेंदबाजी देने में देर नहीं की और नतीजा सबके सामने है। गावस्कर का कहना है कि विराट कोहली अपनी गलतियों से सबक लेते हैं, जो उन्हें एक बड़ा कप्तान बना सकता है।
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