Monday 30 January 2017

संजीव बालियानः एक के बाद एक मुसीबत में फंसे

मुजफ्फरनगर की सभी 6 सीटें हार रही है भाजपा 

मुजफ्फरनगरः केंद्रीय मंत्री व मुजफ्फरनगर के सांसद डॉ. संजीव बालियान एक बार फिर मुसीबत में फंस गए हैं। उन पर मुलायम सिंह यादव के बारे में अपशब्द कहने का आरोप लगा है। एक वीडियो, जो वायरल हो रहा है, के अनुसार संजीव बालियान ने यह कह दिया कि मुलायम सिंह के मरने का समय आ गया है। इस बात का हाईकमान ने संज्ञान लिया है और ताकीद किया है कि चुनाव प्रचार में ऐसे बयानों से बचा जाए।

वैसे संजीव बालियान की कठिनाइयां कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। मुजफ्फरनगर की सभी 6 विधानसभा सीटों पर भाजपा की हालत खराब है और संजीव पर दबाव है कि वे ज्यादा से ज्यादा सीटें पार्टी को दिलाएं। सबसे अहम बुढ़ाना, चरथावल, खतौली व मुजफ्फरनगर विस सीटे हैं। पुरकाजी व मीरापुर तो बिजनौर लोकसभा में आती हैं लेकिन बाकी चारों मुजफ्फरनगर लोकसभा सीट का हिस्सा हैं। संजीव बालियान ने एक साल पहले हुए उपचुनाव में सदर सीट से अपने चहेते कपिल देव अग्रवाल को टिकट दिलाया था और विधायक बनवाया था लेकिन उस समय मुकाबला केवल सपा से था। बसपा का प्रत्याशी उस समय मैदान में नहीं था। इस बार बसपा के अलावा रालोद का प्रत्याशी भी मैदान में है और कपिल देव की हार तय मानी जा रही है।

इसी तरह चरथावल सीट, जिसके क्षेत्र में संजीव बालियान का पैतृक गांव कुटबा-कुटबी आता है, पर भी संजीव की इज्जत दांव पर है। चरथावल से संजीव अपने किसी रिश्तेदार को टिकट दिलवाना चाहते थे लेकिन हाईकमान ने टिकट दिया पुराने प्रत्याशी विजय कश्यप को। कश्यप पिछली बार नजदीकी मुकाबले में हार गए थे। अब संजीव पर दबाव है कि इस जाट बहुल इलाके में विजय की सहायता करें लेकिन वे प्रचार के लिए समय नहीं निकाल पा रहे हैं। 11 फरवरी को मतदान होना है। दूसरी और सपा ने आर्थिक रूप से मजबूत प्रत्याशी मुकेश चौधरी को फिर से टिकट दिया है। उनके सामने विजय की हालत खराब है। यहां जाटों के वोट बंटे तो बसपा के सिटिंग विधायक नूरसलीम राणा की जीत तय है।

बुढ़ाना विस सीट पर भाजपा के जाट प्रत्याशी उमेश मलिक से भी संजीव की प्रतिष्ठा जुड़ी है। बुढ़ाना संजीव बालियान के प्रभाव वाला इलाका है। यहां से सपा ने पूर्व जिलाध्यक्ष व वरिष्ठ अधिवक्ता प्रमोद त्यागी को टिकट देकर उमेश की हालत खराब कर दी है। इसके अलावा रालोद के टिकट पर पूर्व मंत्री योगराज सिंह लड़ रहे हैं। ये दोनों ही प्रत्याशी जितनी मजबूती से लड़ेंगे उतनी ही भाजपा की हालत खराब होगी। बसपा से मुस्लिम प्रत्याशी सैयदा राणा हैं। अगर बुढ़ाना सीट भाजपा हारती है तो संजीव की किरकिरी होनी तय है।

खतौली विस सीट पर भाजपा सबसे कमजोर है। विक्रम सैनी के रूप में नया चेहरा उतारा गया है। इसके लिए संजीव बालियान को भारी विरोध का सामना करना पड़ा है। हालांकि संजीव का कहना है कि उनके कहने पर टिकट नहीं हुआ है लेकिन खतौली विस में संजीव का अच्छा खासा प्रभाव है और यहां के भाजपाई उनसे उम्मीद कर रहे थे कि वे अपने किसी आदमी का टिकट कराएं। जानसठ के चेयरमैन यनेश तंवर भी टिकट के दावेदार थे लेकिन संजीव उन्हें टिकट नहीं दिला सके। इसे लेकर संजीव का भारी विरोध हो रहा है। अब देखना है संजीव इन चुनौतियों से कैसे निपटते हैं।

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